- तीन साल पहले आर्मी मेडिकल क्रॉप्स में कैप्टन के पद पर हुई थी तैनाती, पिता हैं सिविल इंजीनियर
कैराना। एएमसी (आर्मी मेडिकल कॉर्प्स) में कैप्टन के पद पर तैनात हुए डॉ. अकरम चौधरी का स्वतंत्रता दिवस पर मेजर के पद पर प्रमोशन हो गया है। प्रमोशन होने के बाद कैराना सहित आसपास के क्षेत्रों में खुशी का माहौल है।
कैराना के मोहल्ला बिसातियान निवासी सिविल इंजीनियर इरफान चौधरी के बड़े बेटे अकरम चौधरी ने 2014 में मुजफ्फरनगर मेडिकल कॉलेज से एमबीबीएस की पढ़ाई पूरी कर ली थी। जिसके बाद डॉ. अकरम चौधरी 2015-16 में दिल्ली के सफदरजंग हॉस्पिटल व 2016-17 में राम मनोहर लोहिया हॉस्पिटल दिल्ली में अपनी सेवाएं दें चुके हैं। 2019 में डॉ. अकरम चौधरी का एएमसी (आर्मी मेडिकल कॉर्प्स) में कैप्टन के पद पर देहरादून में तैनात हुए थे। दो साल बाद लद्दाख में उनकी पोस्टिंग हो गई थी। 15 अगस्त को आजादी के अमृत महोत्सव के उपलक्ष्य में डॉ. अकरम चौधरी को लद्दाख में ब्रिगेडियर ने अशोक चिह्न लगाकर उनका मेजर के पद पर प्रमोशन किया है। वहीं, पलायन, गुंडागर्दी, नशाखोरी जैसे संगीन अपराधों के लिए बदनाम रहे कैराना से निकले होनहार छात्र डॉ. अकरम चौधरी ने आर्मी में मेजर बनकर कैराना सहित आसपास के क्षेत्रों का नाम रोशन कर दिया है। उनके पिता का कहना है कि यह उनके व उनके परिवार तथा समाज के लिए गौरव के क्षण हैं। उन्होंने सभी युवाओं से अपील की है कि हर युवा उनके बेटे से सबक लें तथा उच्च शिक्षा हासिल कर ऊंचे पदों पर तैनात होकर देश सेवा कर अपने व अपने परिवार तथा समाज का नाम रोशन करें।
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शामली में की हाईस्कूल-इंटर की पढ़ाई
मेजर डॉ. अकरम चौधरी ने शामली के सेंट फ्रांसिस स्कूल से हाईस्कूल व इंटर की शिक्षा हासिल की है। 2014 में एमबीबीएस की पढ़ाई मुजफ्फरनगर मेडिकल कॉलेज से पूरी करने के बाद उन्होंने आर्मी में नौकरी कर देश सेवा करने की ठान ली थी।
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युवाओं के लिए पिता बना रहे लाइब्रेरी
मेजर डॉ. अकरम चौधरी के पिता सिविल इंजीनियर इरफान चौधरी का कहना है कि जब उन्होंने अपने बेटे की पढ़ाई कराई, तो उनके सामने कई तरह की समस्याएं आईं। वहीं, उनके द्वारा गुर्जर समाज के छात्र-छात्राओं को शिक्षित कर अच्छे पदों पर पहुंचाने के लिए एमजीआर (मुस्लिम गुर्जर रिव्युलूशन) ग्रुप बनाया गया है, जिसमें समाज के डॉक्टर, इंजीनियर, अध्यापक, पुलिस व आर्मी के करीब 100 व्यक्ति शामिल हैं। उनके द्वारा गांव भूरा में एक लाइब्रेरी बनाई जा रही हैं। सभी के सहयोग से उसका निर्माण कार्य चल रहा है। उनका कहना है कि एक शिक्षित व्यक्ति पूरे परिवार की कामयाबी का माध्यम बन जाता है। शिक्षा ही एक ऐसा हथियार है, जिससे हर तरह की बुराइयों व कठिनाइयों से बचा जा सकता है।