पवित्र कुरआन इंसान की सबसे बड़ी दौलत: मुफ्ती

— नंगलाराई खेड़ा में मुफ्ती साबिर ने की गुनाहों से बचने की ताकीद
— बोले, दिल से नहीं तो जुबान से ही कर लें तौबा

कैराना। प्रख्यात आलिम—ए—दीन मुफ्ती साबिर कासमी ने कहा कि पवित्र रमजान बुरी आदतों और बुरे कामों से बचाने का संदेश देता है। इस मुबारक महीने में विशेष नमाज तरावीह के दौरान पवित्र कुरआन सुनाने वाले लोग बड़े ही सौभाग्यशाली होते हैं। इंसान के लिए कुरआन से बड़ी कोई दौलत नहीं है। उन्होंने गुनाहों से बचने की ताकीद भी की।
   क्षेत्र के गांव नंगलाराई खेड़ा में स्थित मस्जिद में मौलाना मुरसलीन अहमद ने मुकद्दस माह रमजान की 19वीं रात में विशेष नमाज तरावीह के दौरान पवित्र कुरआन मुकम्मल किया। जहां हाफिज महबूब ने सुनने वाले की भूमिका निभाई।
     इस अवसर पर आयोजित गोष्ठी में प्रख्यात आलिम—ए—दीन मौलाना मुफ्ती साबिर कासमी ने कहा कि पवित्र रमजान माह में अल्लाह शैतानों की ताकत बंद कर देते हैं। यह बाबरकत महीना अल्लाह ने अपने बंदों को नवाजा है। इसमें केवल रोजा ही नहीं रखा जाता है, बल्कि हर बुरे कामों से बचने का संदेश देता है। न किसी को बुरा कहो और न बुरा सुनो। कुरआन की तिलावत और कसरत से इबादत करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि पवित्र कुरआन हाफिजों के सीनों में महफूज हो जाता है, यह उनके पास सबसे बड़ी दौलत होती है। कुरआन को कभी मिटाया नहीं जा सकता है। उन्होंने कहा कि इंसान कई तरह के गुनाहों में मुब्तला है। गुनाह दिल को बेचैन कर देता है, चैन—सुकून निकल जाता है। उन्होंने कहा कि इंसान लुक—छिपकर गुनाह करता रहता है, लेकिन अल्लाह से कुछ नहीं छिप सकता। गुनाह में दिल इतना स्याह हो गया है कि इंसान तौबा करने को तैयार नहीं है। इसलिए यदि दिल नहीं भी तौबा को करता है, तो जुबान से ही अल्लाह से तौबा कर लेनी चाहिए, अल्लाह तब भी माफ कर देते हैं। उन्होंने कहा कि जब पवित्र कुरआन मुकम्मल होता है, तो अल्लाह बंदों द्वारा मांगी गई दुआ कुबूल करते हैं। यह भी कहा कि पवित्र कुरआन और हदीस के बताए रास्तों पर चलने से इंसान का दुनिया और आखिरत में बेडा पार हो जाएगा। उन्होंने अभिभावकों से अपने बच्चों को गलत संगत से बचाने और शरीयत के मुताबिक जिंदगी गुजारने का आह्वान किया। इसके पश्चात उन्होंने विशेष दुआएं भी कराई। इस अवसर पर हाजी हनीफ, चौधरी अनीस, मौलाना सलीम, हाफिज इलियास, फरजंद, मौलाना अमरीश, हाफिज फुरकान, मौलाना तहसीन, हाफिज इरशाद, हाफिज सालिम आदि मौजूद रहे।
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